मुरादाबाद: (१८ अगस्त, २०११) मुरादाबाद जनपद के लब्धप्रतिष्ठ साहित्यकार और गुलाब सिंह हिन्दू स्नातकोत्तर महाविद्यालय, चाँदपुर (बिजनौर) में हिन्दी विभाग के अध्यक्ष- डॉ महेश 'दिवाकर' को 'भारतीय विद्या संस्थान', ट्रिनिडाड एवं टुबैगो (वैस्ट इण्डीज) द्वारा आयोजित अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी सेमिनार ( ९ अगस्त, २०११ से १३ अगस्त, २०११ तक प्रवासी कवि हरिशंकर आदेश के ७५वें जन्म दिवस पर अमृत महोत्सव के रूप में आयोजित) में आमंत्रित कर सम्मानित किया गया। यह आयोजन प्रवासी साहित्य और प्रवासी महाकवि हरिशंकर आदेश, कनाडा / अमेरिका / ट्रिनीडाड के साहित्य के सन्दर्भ में किया गया।
इस अन्तर्राष्ट्रीय सेमिनार में भारत से डॉ महेश 'दिवाकर' के दिशानिर्देशन में डॉ बाबूराम, हिन्दी विभाग, कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय, कुरूक्षेत्र (हरियाणा) और डॉ पद्मा पाटील, अध्यक्षा हिन्दी विभाग, शिवाजी विश्वविद्यालय, कोल्हापुर (महाराष्ट्र) सहित अन्य अनेक देशों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इनमें चीन, जापान, अमेरिका, इंग्लैण्ड, गुयाना, ट्रिनिडाड एण्ड टुबैगो, कनाडा, पाकिस्तान, मॉरिशस, साइप्रस आदि देशों के प्रतिनिधियों ने सहभागिता की।
अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी सेमिनार के समापन समारोह में डॉ महेश 'दिवाकर' को ट्रिनिडाड हिन्दी शिखर सम्मान-२०११ से विभूषित किया गया। साथ ही डॉ महेश 'दिवाकर' को भारतीय विद्या संस्थान के द्वारा संस्थान की हिन्दी कार्यकारिणी के लिए प्रमुख रूप से तीन वर्षीय सदस्य नामित किया है। ध्यातव्य है डॉ महेश 'दिवाकर' की ७ अगस्त, २०११ से १७ अगस्त, २०११ तक प्रस्तावित क्षेत्र में अपनी सांस्कृतिक यात्रा सम्पन्न की। सेमिनार में डॉ महेश 'दिवाकर' ने प्रवासी साहित्य और प्रवासी साहित्यकार हरिशंकर आदेश के साहित्य पर अपने तीन शोध-पत्र प्रस्तुत किए। १५ अगस्त, २०११ को डॉ महेश 'दिवाकर' ने भारतीय हाईकमीशन, ट्रिनिडाड के परिसर में आयोजित स्वतंत्रता दिवस समारोह को संबोधित करते हुए अपनी रचना- 'हमें नया भारत रचना है' का काव्य पाठ भी किया। डॉ महेश 'दिवाकर' इससे पूर्व सन् २००८ में नार्वे-स्वीडन की भी सांस्कृतिक यात्रा कर चुके हैं।
इस अन्तर्राष्ट्रीय सेमिनार में भारत से डॉ महेश 'दिवाकर' के दिशानिर्देशन में डॉ बाबूराम, हिन्दी विभाग, कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय, कुरूक्षेत्र (हरियाणा) और डॉ पद्मा पाटील, अध्यक्षा हिन्दी विभाग, शिवाजी विश्वविद्यालय, कोल्हापुर (महाराष्ट्र) सहित अन्य अनेक देशों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इनमें चीन, जापान, अमेरिका, इंग्लैण्ड, गुयाना, ट्रिनिडाड एण्ड टुबैगो, कनाडा, पाकिस्तान, मॉरिशस, साइप्रस आदि देशों के प्रतिनिधियों ने सहभागिता की।
अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी सेमिनार के समापन समारोह में डॉ महेश 'दिवाकर' को ट्रिनिडाड हिन्दी शिखर सम्मान-२०११ से विभूषित किया गया। साथ ही डॉ महेश 'दिवाकर' को भारतीय विद्या संस्थान के द्वारा संस्थान की हिन्दी कार्यकारिणी के लिए प्रमुख रूप से तीन वर्षीय सदस्य नामित किया है। ध्यातव्य है डॉ महेश 'दिवाकर' की ७ अगस्त, २०११ से १७ अगस्त, २०११ तक प्रस्तावित क्षेत्र में अपनी सांस्कृतिक यात्रा सम्पन्न की। सेमिनार में डॉ महेश 'दिवाकर' ने प्रवासी साहित्य और प्रवासी साहित्यकार हरिशंकर आदेश के साहित्य पर अपने तीन शोध-पत्र प्रस्तुत किए। १५ अगस्त, २०११ को डॉ महेश 'दिवाकर' ने भारतीय हाईकमीशन, ट्रिनिडाड के परिसर में आयोजित स्वतंत्रता दिवस समारोह को संबोधित करते हुए अपनी रचना- 'हमें नया भारत रचना है' का काव्य पाठ भी किया। डॉ महेश 'दिवाकर' इससे पूर्व सन् २००८ में नार्वे-स्वीडन की भी सांस्कृतिक यात्रा कर चुके हैं।
डॉ. महेश 'दिवाकर' जी को बधाई.
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