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मंगलवार, 30 अक्तूबर 2012

'कुंडलिया छंद के सात हस्ताक्षर' का लोकार्पण



आगरा ( 05 अक्टूबर): 'समानान्तर' संस्था के तत्वाधान मे 'यूथ हास्टल सभागार' मे त्रिलोक सिंह ठकुरेला द्वारा सम्पादित 'कुंडलिया छंद के सात हस्ताक्षर ' का विमोचन यशस्वी कवि श्री सोम ठाकुर, 'बाबूजी का भारतमित्र' के सम्पादक श्री रघुविंद्र यादव, डा.राजेंद्र मिलन और 'समानान्तर' संस्था की अध्यक्षा डा. शशि गोयल द्वारा किया गया  बतौर मुख्य अतिथि कवि सोम ठाकुर जी ने कहा कि कुंडलिया एक लोकप्रिय विधा रही है  आज इसके संरक्षण की जरूरत है त्रिलोक सिंह ठकुरेला द्वारा सम्पादित 'कुंडलिया छंद के सात हस्ताक्षर ' इस दिशा मे सराहनीय प्रयास है सुपरिचित रचनाकार श्री रघुविंद्र यादव ने पुस्तक की प्रशंसा करते हुए सम्पादक और इसके सभी रचनाकारों को बधाई दी  इस अवसर पर समानांतर संस्था की ओर से त्रिलोक सिंह ठकुरेला एवम रघुविंद्र यादव को श्री सोम ठाकुर द्वारा सारस्वत सम्मान देकर सम्मनित किया गया   कार्यक्रम मे डा.रामसनेही लालशर्मा 'यायावर' गाफिल स्वामी, राजेश प्रभाकर, शेशपाल सिंह शेष, ड्रा.एम.पी.विमल, अजीत फौजदार, सुरेंद्र सिंह वर्मा सहित अनेक साहित्यकार व गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे  अंत मे कवि सम्मेलन का आयोजन भी किया गया  कार्यक्रम का संचालन अशोक अश्रु ने किया 


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